नीट पेपर लीक मामले को लेकर एक तरफ पूरे देश में चर्चाएं तेज हैं तो वहीं इस मामले में सियासत भी चरम पर है। आज से 18वीं लोकसभा का नया सत्र शुरू हो रहा है जिसमें विपक्ष इस मुद्दे को पूरे जोर-शोर से उठाने की तैयारी कर रहा है। सड़क से लेकर संसद तक नीट पेपर लीक मुद्दे की गूंज सुनाई देगी। इससे पहले राजद सांसद मनोज झा ने आज इस मुद्दे को लेकर बड़ी बात कह दी है। उन्होंने बिहार के संजीव मुखिया का जदयू से कनेक्शन को उजागर किया है। संजीव मुखिया अबतक इस पूरे कांड का मास्टर माइंड बताया जा रहा है। हालांकि इसमें अभी कई खुलासे हो रहे हैं।
NEET पेपर ड़बड़ी को लेकर सवाल ये कि आखिर छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करने वाले कौन हैं. एक के बाद एक नए किरदार सामने आ रहे हैं. जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है, वैसे-वैसे नए खुलासे हो रहे हैं. मामले की जांच में जुटी EOU की विज्ञप्ति में कहा गया है कि एनटीए द्वारा पेपर के स्टोरेज, ट्रांसपोर्टेशन और हैंडओवर के बारे में दी गई जानकारी से पता चलता है कि एनटीए के सिस्टम में खामियां हैं और यह लीक किस प्वॉइंट पर हुआ, इसकी अभी भी जांच चल रही है.
इस मामले में अब तक 18 लोगों को गिरफ्तार किया गया है. काजू, जिसे अन्य संदिग्धों के साथ देवघर से पकड़ा गया था, को ईओयू द्वारा गिरफ्तार नहीं किया गया है. जांच में संजीव मुखिया गिरोह की संलिप्तता का पता चला है, जो नालंदा, बिहार का रहने वाला है.
खुफिया जानकारी जुटाने और तकनीकी निगरानी के ज़रिए, EOU ने प्रश्नपत्र लीक के मुख्य मास्टरमाइंड से दो और प्रमुख संदिग्धों की पहचान की और उन्हें गिरफ़्तार किया. झारखंड के देवीपुर में एक फार्महाउस पर एक छापेमारी में संदिग्धों को गिरफ़्तार किया गया. गिरफ़्तार किए गए लोगों में से एक, बलदेव कुमार उर्फ चिंटू, गिरोह के कुख्यात नेता संजीव कुमार उर्फ लूटन मुखिया का अहम लिंक था.
बलदेव कुमार को परीक्षा की सुबह हल किए गए NEET प्रश्नपत्र की पीडीएफ़ मिली थी. छपरा में लर्न बॉयज़ हॉस्टल और प्ले स्कूल में वाई- फाई प्रिंटर का उपयोग करके, उसने और उसके साथियों ने प्रतियां छापीं और उन्हें उम्मीदवारों के समूहों में वितरित किया. उम्मीदवारों को पहचान छिपाने के लिए निर्दिष्ट ड्रॉप-ऑफ पॉइंट और टैक्सियों का उपयोग करके सख्त गोपनीयता के तहत इस जगह पर लाया गया था. टैक्सी चालक मुकेश कुमार को भी गिरफ़्तार किया गया और उसका वाहन जब्त कर लिया गया.